एचआईवी के लक्षण
एचआईवी के तीन प्रमुख चरण होते हैं, जिनमें अलग-अलग लक्षण दिखाई देते हैं:
- पहला चरण (प्रारंभिक संक्रमण):
- बार-बार बुखार और ठंड लगना
- शरीर पर लाल चकत्ते
- सिरदर्द और गर्दन में सूजन
- रात को पसीना आना
- माउथ और जेनिटल अल्सर
- हल्का जोड़ों का दर्द और थकावट
- दूसरा चरण (क्रोनिक संक्रमण):
इस चरण में वायरस तेजी से बढ़ता है और संक्रमित व्यक्ति से यौन संबंधों के जरिए दूसरे व्यक्ति में फैलने का खतरा अधिक होता है। - तीसरा चरण (गंभीर संक्रमण):
- निमोनिया
- लगातार थकावट और बुखार
- याददाश्त कमजोर होना
- डिप्रेशन और अन्य गंभीर समस्याएं
एचआईवी फैलने के कारण
- असुरक्षित यौन संबंध: बिना सुरक्षा के यौन संबंध बनाना एचआईवी संक्रमण का प्रमुख कारण है।
- संक्रमित सुइयों का उपयोग: सिरिंज या सुइयों को साझा करने से भी वायरस फैल सकता है।
- मां से बच्चे में संक्रमण: जन्म के दौरान या स्तनपान के जरिए एचआईवी संक्रमित मां से यह वायरस बच्चे में जा सकता है।
एचआईवी का इलाज
- एंटीरेट्रोवाइरल थेरेपी (ART):
यह उपचार एचआईवी संक्रमण को नियंत्रित करता है, शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बनाए रखता है और एड्स के विकास को रोकता है। - नियमित दवाइयां:
डॉक्टर की सलाह के अनुसार नियमित दवाइयां लेने से संक्रमण पर नियंत्रण पाया जा सकता है।
महत्वपूर्ण सलाह
- इस लेख का उद्देश्य जागरूकता बढ़ाना है। किसी भी दवा या उपचार को अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें।
- सुरक्षित यौन संबंध बनाएं और सुइयों का साझा उपयोग न करें।
- संक्रमण से बचने के लिए नियमित जांच कराएं।