
साइबर ठगों ने अब कॉलेजों में भी अपनी घुसपैठ बना ली है। ये ठग कॉलेज छात्रों के बैंक खातों का इस्तेमाल ठगी की रकम के लेन-देन में कर रहे हैं। ठगों का गिरोह किसी एक छात्र को अपना शिकार बनाकर, फिर दूसरे छात्रों को भी फंसा रहा है। जयपुर और आसपास के इलाकों में ऐसे कई मामले सामने आए हैं। अब बच्चों के माता-पिता परेशान हैं और अपने बच्चों के भविष्य की चिंता कर रहे हैं। कई छात्रों ने परिचितों की बातों में आकर अपना बैंक खाता ठगों को दे दिया। ऐसे में माता-पिता को सतर्क रहना चाहिए और बच्चों के बैंक खातों में जमा होने वाली राशि की पूरी जानकारी रखनी चाहिए।
कैसे हो रही ठगी?
शेयर मार्केट का झांसा
महेश नगर के मनीष (परिवर्तित नाम) ने बताया कि बीए प्रथम वर्ष का उनका रिश्तेदार युवक ने उन्हें शेयर मार्केट की रकम उनके बैंक खाते में जमा करने के लिए कहा। युवक ने झांसा दिया कि वह दो हजार रुपए देगा। दो बार में ढाई लाख रुपए उनके खाते में जमा हुए। इसके बाद रिश्तेदार युवक ने एटीएम और चेक से वह रकम निकाल ली। तीन दिन पहले जब मनीष का खाता ब्लॉक हो गया, तो उसने बैंक से संपर्क किया और पता चला कि कर्नाटक पुलिस ने उसका खाता फ्रीज करवा लिया है। इस रकम का संबंध 38 लाख की साइबर ठगी से था, जिसमें से ढाई लाख रुपए मनीष के खाते में जमा हुए थे। अब मनीष और उसके माता-पिता परेशान हैं।
कॉलेज में मिला अजनबी युवक
जयपुर के सोडाला निवासी महेश (परिवर्तित नाम) ने बताया कि वह कॉलेज में पढ़ाई कर रहा है और हाल ही में कॉलेज में एक युवक से मिला था। युवक ने उसे शेयर मार्केट का काम करने का झांसा दिया और अपना बैंक खाता उपयोग में लेने के लिए कह दिया। अब पता चला कि उसी युवक ने उसके खाते में साइबर ठगी की रकम जमा की थी और वह रकम निकाल ली थी। महेश को उस युवक के बारे में बहुत कम जानकारी है, बस इतना ही जानता है कि वह नींदड़ का रहने वाला है।
क्या करें?
- अगर आपने किसी को अपना बैंक खाता उपयोग में देने को कहा है तो उसमें जमा होने वाली रकम को फ्रीज करवा दें।
- ऐसे मामले में, जहां किसी ने आपका खाता उपयोग में लिया हो, तुरंत स्थानीय थाना पुलिस को सूचित करें।
- बच्चों के माता-पिता को यह ध्यान रखना चाहिए कि उनके बैंक खाते में जो पैसा आ रहा है, वह सही स्रोत से आ रहा है या नहीं। यदि गलत तरीके से पैसा आ रहा है, तो उसे फ्रीज करवा कर पुलिस को सूचित करें।