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पन्ना टाइगर रिजर्व: बाघों को खाने की कमी, प्रशासन अब बना रहा नया प्लान

मध्य प्रदेश के पन्ना टाइगर रिजर्व में बाघों के लिए पर्याप्त शिकार उपलब्ध नहीं है, जिससे बाघ और इंसानों के बीच टकराव की घटनाएं बढ़ रही हैं।

शिकार की कमी से बढ़ी परेशानी

पन्ना टाइगर रिजर्व में कुल 80 बाघ हैं, लेकिन शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या बाघों की जरूरत के हिसाब से काफी कम है। विशेषज्ञों का कहना है कि यहां के कुल क्षेत्रफल 1,645.08 वर्ग किलोमीटर में 40,000 से ज्यादा शाकाहारी वन्यजीव होने चाहिए, लेकिन वर्तमान में केवल 26,000 ही हैं।

बाघों और इंसानों का टकराव

  • बाघों को शिकार के लिए पर्याप्त वन्यजीव नहीं मिल रहे हैं।
  • खाने की तलाश में बाघ अब इंसानी बस्तियों का रुख कर रहे हैं।
  • हाल ही में हिनौता रेंज के पास 3 बाघों ने मिलकर एक महिला का शिकार कर लिया।

पन्ना टाइगर रिजर्व का मौजूदा हाल

  • टाइगर रिजर्व का क्षेत्रफल: 1,645.08 वर्ग किलोमीटर।
  • बाघों के रहने लायक जमीन: 800 वर्ग किलोमीटर।
  • बाघों की आदर्श संख्या: 50 (लेकिन वर्तमान में 80 बाघ हैं)।

प्रशासन का रवैया और प्लान

  • प्रशासन ने शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या बढ़ाने के लिए प्लान बनाया था, लेकिन अब तक उस पर काम शुरू नहीं हुआ।
  • अब नए प्लान पर काम शुरू करने की बात कही जा रही है।

विशेषज्ञों की राय

विशेषज्ञों का कहना है कि यदि शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या नहीं बढ़ाई गई, तो बाघों और इंसानों के बीच टकराव की घटनाएं और बढ़ सकती हैं। प्रशासन को जल्द कदम उठाने की जरूरत है।

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