घटना के कई दिन बाद एफआईआर दर्ज
लेखपाल मनीष कश्यप के अपहरण के बाद फरीदपुर पुलिस ने आठ दिन तक एफआईआर दर्ज नहीं की। इस दौरान पुलिस ने परिजनों को कई दिन तक टरकाया, और मामला जब एडीजी रमित शर्मा तक पहुंचा, तब जाकर आठ दिन बाद एफआईआर दर्ज की गई। पुलिस की लापरवाही के कारण लेखपाल का कंकाल 15 दिसंबर को कैंट इलाके में नाले के पास मिला।
परिजनों और लेखपालों का विरोध
लेखपाल के परिजनों ने इंस्पेक्टर और सीओ पर गंभीर आरोप लगाए थे और उनकी सख्त कार्रवाई की मांग की थी। इस पर लेखपालों ने भी कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया था। एसएसपी ने इस मामले में इंस्पेक्टर के खिलाफ जांच का आदेश दिया था, जिसमें लापरवाही साबित होने पर इंस्पेक्टर को लाइन हाजिर कर दिया गया है।