
श्रावस्ती:

श्रावस्ती में बेसिक शिक्षा विभाग ने एक रिक्शा चालक को फर्जी शिक्षक बताकर 51 लाख रुपये की रिकवरी का नोटिस भेजा। इस नोटिस को देखकर पीड़ित और उसका परिवार चौंक गया और गहरे सदमे में है।
क्या है मामला?
- गांव: भिनगा कोतवाली क्षेत्र के ग्राम गोड़पुरवा निवासी मनोहर यादव दिल्ली में हाथ रिक्शा चलाकर गुजर-बसर करता है।
- पढ़ाई: मनोहर निरक्षर है, फिर भी उसे शिक्षक बताकर नोटिस थमा दिया गया।
- नोटिस: बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय ने 11 दिसंबर 2024 को जारी नोटिस में मनोहर को फर्जी नाम और दस्तावेजों के सहारे सहायक शिक्षक के पद पर नौकरी करने का आरोप लगाया।
क्या लिखा है नोटिस में?
- नोटिस के अनुसार, मनोहर ने उच्च प्राथमिक विद्यालय, नव्वापुरवा में सहायक शिक्षक के तौर पर जून 2020 तक नौकरी की।
- फर्जी दस्तावेजों के आधार पर नौकरी कर 51 लाख 63 हजार 53 रुपये वेतन के रूप में लेने का आरोप है।
- उसे निर्देश दिया गया है कि यह रकम एक सप्ताह के भीतर राजकोष में जमा कराए, अन्यथा भू-राजस्व के तहत वसूली होगी।
परिवार की हालत:
नोटिस मिलने के बाद मनोहर और उसके परिवार का रो-रोकर बुरा हाल है।
अधिकारियों का बयान:
बीएसए अजय कुमार ने कहा, “नोटिस मेरे कार्यालय से ही जारी हुआ है। यदि मनोहर को कुछ कहना है तो वह साक्ष्य लेकर कार्यालय आ सकता है।”