मृदुल कुमार, जो गाजियाबाद के जयपुरिया सनराइज ग्रीन में रहते हैं, रायबरेली से घर लौट रहे थे। उन्होंने नौचंदी एक्सप्रेस में रिजर्वेशन कराया था। मृदुल ने बताया कि जैसे ही ट्रेन खुर्जा से दो किलोमीटर हापुड़ की ओर बढ़ी, तभी बाहर से किसी ने पत्थर फेंका। तेज धमाके के साथ ट्रेन का शीशा टूट गया और उनके सिर से खून बहने लगा।
हापुड़ स्टेशन पर मिला इलाज
हादसे में मृदुल बेहोश हो गए। कुछ समय बाद होश आने पर उन्होंने अपने बेटे को कॉल कर स्टेशन बुलाया। अन्य यात्रियों ने भी हापुड़ स्टेशन को सूचना दी। ट्रेन के हापुड़ पहुंचने पर स्थानीय डॉक्टरों की टीम ने उनका इलाज किया। इसके बाद वह अपने बेटे के साथ गाजियाबाद लौट गए।
पत्थर फेंकने वालों की तलाश
आरपीएफ थाना प्रभारी निरीक्षक सुभाष यादव ने बताया कि पत्थर लगने से मृदुल घायल हो गए थे और उन्हें स्टेशन पर इलाज दिलवाया गया। साथ ही पत्थर फेंकने वालों की तलाश जारी है और इसके लिए टीम को जानकारी दे दी गई है।