एग्जिट पोल और गठबंधन की रणनीति
चुनाव के बाद सामने आए एग्जिट पोल के अनुसार, सत्तारूढ़ महायुति को दोबारा सरकार बनाने का अनुमान है, जबकि कुछ पोल में महाविकास अघाड़ी (एमवीए) को बहुमत के करीब बताया गया है। अगर किसी भी गठबंधन को बहुमत नहीं मिला, तो निर्दलीय उम्मीदवारों का रोल अहम हो सकता है।
बड़े दलों का निर्दलीयों से संपर्क
महाविकास अघाड़ी और महायुति दोनों ने निर्दलीय और बागी प्रत्याशियों से संपर्क करना शुरू कर दिया है। कांग्रेस के बालासाहेब थोराट और एनसीपी के जयंत पाटिल बागियों को जोड़ने में जुट गए हैं। उधर, बीजेपी नेता देवेंद्र फडणवीस ने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से नागपुर में मुलाकात की। यह माना जा रहा है कि इस दौरान नई सरकार के गठन पर चर्चा हुई।
फडणवीस का बयान
फडणवीस ने कहा कि उन्होंने अभी किसी निर्दलीय से संपर्क नहीं किया है। हालांकि केंद्र में बीजेपी की सरकार होने के चलते निर्दलीयों का झुकाव महायुति की ओर हो सकता है।
निर्दलीयों की अहम भूमिका
राज्य में मतदान प्रतिशत बढ़ने के कारण चुनावी नतीजों को लेकर कई तरह के कयास लगाए जा रहे हैं। यदि दोनों गठबंधनों के बीच कांटे की टक्कर होती है और बहुमत के लिए जरूरी 145 सीटें हासिल नहीं होती हैं, तो निर्दलीय और बागी विधायकों की भूमिका निर्णायक होगी। इसे ध्यान में रखते हुए महाविकास अघाड़ी ने पहले ही उनसे संवाद शुरू कर दिया है।