जयपुर के करतारपुरा स्थित सरकारी स्कूल में बच्चों से पैर दबवाने का मामला फिर से सुर्खियों में आया है। इस मामले को लेकर नेत्रहीन शिक्षक अजय देवंदा ने बुधवार को शिक्षा मंत्री मदन दिलावर से मुलाकात की और अपना दर्द साझा किया। उन्होंने बताया कि स्कूल में बच्चों से पैर दबवाने वाली महिला टीचर और प्रिंसिपल उन्हें धमका रहे हैं और गलत बयान देने के लिए दबाव बना रहे हैं।
अजय देवंदा ने रोते हुए मंत्री से कहा कि उन्हें लगातार परेशान किया जा रहा है और फंसाने की धमकी दी जा रही है। उन्होंने कहा, “अगर मैं गलत हूं तो मुझे सजा दीजिए, लेकिन मुझे मानसिक रूप से परेशान मत कीजिए।” अजय देवंदा ने जिला शिक्षा अधिकारी कृष्ण पाल सिंह, प्रिंसिपल अंजू और टीचर रेखा सोनी के खिलाफ शिकायत भी की है।
क्या था पूरा मामला?
अजय देवंदा जयपुर के करतारपुरा स्थित राजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय में काम कर रहे हैं। 7 अक्टूबर को स्कूल की टीचर रेखा सोनी का एक वीडियो सामने आया था, जिसमें बच्चे उनके पैर दबाते हुए दिख रहे थे। इसके बाद टीचर को एपीओ (अप्राप्त सेवा आदेश) कर दिया गया था।
नेत्रहीन शिक्षक का आरोप
अजय देवंदा ने बताया कि उन्हें पिछले कई दिनों से बेवजह परेशान किया जा रहा है। उन्हें जांच का सामना करना पड़ रहा है और उन पर दबाव डाला जा रहा है कि वह यह कहें कि वीडियो फर्जी था। उन्होंने कहा, “अगर मुझे गलती लगती है, तो मुझे सजा दीजिए, लेकिन मुझे परेशान मत कीजिए।”
शिक्षा मंत्री का आदेश
शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने अजय देवंदा की शिकायत पर कार्रवाई करते हुए जिला शिक्षा अधिकारी, प्रिंसिपल अंजू और टीचर रेखा सोनी के खिलाफ संयुक्त कार्रवाई करने का निर्देश दिया। मंत्री ने कहा कि इन तीनों ने मिलकर अजय देवंदा को बेवजह परेशान किया है। उन्होंने यह भी कहा कि स्कूल में मोबाइल फोन का इस्तेमाल करने के खिलाफ दिया गया नोटिस रद्द कर दिया जाएगा।
यह मामला तब और गहरा हुआ जब अजय देवंदा पर आरोप लगाया गया कि उन्होंने वीडियो को वायरल किया था।