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सीएम भजनलाल शर्मा का नेतृत्व साबित हुआ कारगर
यह उपचुनाव मुख्यमंत्री बनने के बाद भजनलाल शर्मा की सरकार के लिए पहली परीक्षा थी।
- सातों सीटों पर प्रचार की कमान खुद मुख्यमंत्री ने संभाली।
- जनता ने उनकी नीतियों पर भरोसा जताते हुए 5 सीटें भाजपा की झोली में डाल दीं।
- यह पहली बार हुआ है कि सत्ता में रहते हुए किसी दल ने उपचुनाव में इतनी बड़ी जीत दर्ज की हो।
2000 के रिकॉर्ड की बराबरी
राजस्थान में 2000 में हुए उपचुनाव में भाजपा ने 6 में से 4 सीटें जीती थीं। लेकिन इस बार 7 में से 5 सीटें जीतकर भाजपा ने एक नया रिकॉर्ड बनाया है।
कांग्रेस को लगा बड़ा झटका
1952 से अब तक हुए 101 उपचुनावों में कांग्रेस का प्रदर्शन बेहतर रहा है।
- कांग्रेस ने अब तक 57 सीटों पर जीत दर्ज की थी।
- लेकिन 2024 के उपचुनावों में कांग्रेस केवल दौसा सीट पर ही जीत दर्ज कर पाई।
2024 उपचुनाव के नतीजे
- भाजपा: 5 सीटें (खींवसर, रामगढ़, देवली-उनियारा, सलूंबर, झुंझुनूं)
- कांग्रेस: 1 सीट (दौसा)
- बीएपी: 1 सीट (चौरासी)
जीतने वाले नेता
- खींवसर: रेवंत राम डांगा (भाजपा)
- रामगढ़: सुखवंत सिंह (भाजपा)
- देवली-उनियारा: राजेंद्र गुर्जर (भाजपा)
- सलूंबर: शांता अमृतलाल मीणा (भाजपा)
- झुंझुनूं: राजेंद्र भांबू (भाजपा)
- दौसा: दीनदयाल बैरवा (कांग्रेस)
- चौरासी: अनिल कुमार कटारा (बीएपी)
निष्कर्ष
2024 के उपचुनावों में भाजपा ने न केवल अपनी साख को मजबूत किया, बल्कि कांग्रेस को बड़ा झटका देते हुए इतिहास रच दिया। सीएम भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में यह जीत भाजपा के लिए भविष्य की रणनीतियों को मजबूती प्रदान करेगी।