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राजस्थान में 11 महीनों में कुत्तों के हमले का शिकार होने वाले लोगों की संख्या में तेजी से वृद्धि हुई है। प्रदेशभर में 11 महीने में 3 लाख से अधिक लोगों को कुत्तों ने काटा है। जयपुर में हर दिन लगभग 177 लोगों को कुत्तों के हमले का सामना करना पड़ रहा है। निगम प्रशासन के पास संसाधन की कमी के कारण बड़े पैमाने पर यह समस्या हल नहीं हो रही है।
निगम द्वारा अभियान चलाया गया है, जिसमें 13 हजार कुत्तों का बधियाकरण किया गया है और 13,031 कुत्तों को रैबीज की वैक्सीन लगाई गई है। जनवरी और फरवरी महीने में, डॉग बाइट की घटनाओं में तेजी से वृद्धि हुई है और निगम प्रशासन ने 2117 कुत्तों को पकड़ा है। डॉग रिहेबलिटेशन सेंटर बनाने की योजना बन रही है, जिससे इस समस्या का समाधान किया जा सके।
इसके साथ ही, कुत्तों के हमलों में पुरुषों पर अधिक प्रभाव पड़ रहा है। जयपुर में हर महीने कुत्तों के काटने की तकरीबन 5,336 घटनाएं हो रही हैं, जिसमें ज्यादातर दोपहिया वाहन चालक और बच्चे शामिल हैं। इसके अलावा, ग्रामीण क्षेत्रों में भी कुत्तों के हमले की घटनाएं बढ़ रही हैं।
यह समस्या गंभीर है और सामाजिक रूप से भी आपत्तिजनक है। इसे समाधान करने के लिए सरकारी और सामाजिक उपायों की आवश्यकता है।