Related Articles
बांसवाड़ा में पिछले 7-8 सालों से सरकारी नौकरियों में पेपर लीक और नकली अभ्यर्थियों के मामले सामने आए हैं। हाल ही में जिला परिषद ने 7 शिक्षकों और 1 ग्राम विकास अधिकारी को बर्खास्त कर दिया है। पुलिस ने अब तक 25 से ज्यादा लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें शिक्षक, सूचना सहायक, प्रधानाध्यापक और हॉस्टल वार्डन शामिल हैं।
बांसवाड़ा: सरकारी नौकरी पाने के लिए पेपर लीक और नकली अभ्यर्थियों का उपयोग करने वालों पर कार्रवाई शुरू हो गई है। बांसवाड़ा पुलिस ने पिछले डेढ़ महीने में कई बड़े खुलासे किए हैं। पिछले 7-8 वर्षों में कई प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक और नकली अभ्यर्थियों के मामले सामने आए हैं। अब तक एक दर्जन से ज्यादा सरकारी कर्मचारियों और नकली अभ्यर्थियों को गिरफ्तार किया जा चुका है। कई सरकारी कर्मचारी अभी भी पुलिस की नजर में हैं। पुलिस की इस कार्रवाई के बाद प्रशासन भी हरकत में आ गया है। बांसवाड़ा जिला परिषद के सीईओ ने सोमवार को 7 शिक्षकों और 1 ग्राम विकास अधिकारी को नौकरी से बर्खास्त करने के आदेश जारी किए हैं।
इन शिक्षकों और वीडीओ को बर्खास्त किया गया है: बांसवाड़ा जिला परिषद के सीईओ डॉ. वृद्धिचंद गर्ग ने 8 सरकारी कर्मचारियों को बर्खास्त करने के आदेश दिए हैं। इनमें ग्राम विकास अधिकारी सकन सिंह, तृतीय श्रेणी शिक्षक बादर गरासिया, महेश चंद्र पटेल, अनूप डोडियार, महेंद्र सिंह, गीता देवड़ा, खातुराम और सविता डोडियार शामिल हैं। डॉ. गर्ग ने कहा कि प्रतियोगी परीक्षाओं में गड़बड़ी करके नौकरी पाने वाले 12 और शिक्षक हैं जिन्हें जिला प्रशासन ने निलंबित किया है। जिन कर्मचारियों के खिलाफ गंभीर मामले पाए जाएंगे, उनके खिलाफ आगे और सख्त कार्रवाई की जाएगी।
25 से ज्यादा गिरफ्तार, दर्जनों रडार पर: डिप्टी एसपी शिवन्या सिंह के नेतृत्व में बांसवाड़ा जिले में नकली तरीके से नौकरी पाने वालों के खिलाफ पुलिस तेजी से कार्रवाई कर रही है। अब तक 25 से ज्यादा आरोपियों की गिरफ्तारी हो चुकी है, जिनमें शिक्षक, सूचना सहायक, वीडीओ, प्रधानाध्यापक और हॉस्टल वार्डन शामिल हैं। शिवन्या सिंह का कहना है कि जांच के दौरान पता चला है कि एक बड़ी गैंग पिछले कई सालों से सक्रिय है, जो नकली अभ्यर्थियों के जरिए नौकरी दिला रही थी। एक दर्जन से ज्यादा आरोपी पुलिस की नजर में हैं और उन्हें जल्द ही गिरफ्तार किया जाएगा।