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नए फ्लाईओवर: शास्त्री ब्रिज, आईएसबीटी और घमापुर मार्ग पर यातायात दबाव बढ़ा, लेकिन निर्माण में देरी

शहर में यातायात का दबाव लगातार बढ़ता जा रहा है, खासकर 60 साल पुराने शास्त्री ब्रिज पर, जहां हर रोज़ लाखों वाहन गुजरते हैं। इस ब्रिज की जगह डबल डेकर फ्लाईओवर का निर्माण पिछले पांच साल से फाइलों में अटका हुआ है। इसके अलावा, आईएसबीटी से आईटीआई मार्ग और घमापुर-रद्दी चौकी मार्ग पर भी यातायात व्यवस्था पर भारी दबाव है, लेकिन इन मार्गों पर फ्लाईओवर निर्माण की प्रक्रिया जमीनी स्तर पर शुरू नहीं हो पाई है।

  1. आईएसबीटी से आईटीआई मार्ग पर बढ़ा दबाव
    आईएसबीटी से आईटीआई मार्ग पर भारी यातायात है, खासकर कृषि उपज मंडी और मालवाहक वाहनों की आवाजाही के कारण। यहां बड़ी संख्या में बसें भी चलती हैं। क्षेत्रीय विधायक की मांग पर मुख्यमंत्री ने इस मार्ग पर फ्लाईओवर बनाने की स्वीकृति दी थी, लेकिन अभी तक कोई काम नहीं हुआ है।
  2. घमापुर-रद्दी चौकी मार्ग पर भी समस्या
    घमापुर-रद्दी चौकी मार्ग, जो कई प्रमुख इलाकों को जोड़ता है, पर भी यातायात का दबाव बढ़ता जा रहा है। कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में इस मार्ग पर फ्लाईओवर बनाने की स्वीकृति दी गई थी, लेकिन सरकार बदलने के बाद यह प्रोजेक्ट ठंडे बस्ते में चला गया।
  3. शास्त्री ब्रिज का विस्तार भी रुका
    60 साल पुराना शास्त्री ब्रिज, जो शहर के प्रमुख इलाकों को जोड़ता है, पर हर रोज़ 1.5 लाख से अधिक वाहन गुजरते हैं। यह संकरा पुल यातायात को प्रभावित कर रहा है, और इस ब्रिज के विस्तार के लिए प्रस्तावित डबल डेकर फ्लाईओवर का काम पिछले 4 साल से अटका हुआ है।

विधायक लखन घनघोरिया का कहना है कि फ्लाईओवर निर्माण के लिए राजनीति से ऊपर उठकर क्षेत्र की जरूरतों को देखते हुए काम शुरू किया जाना चाहिए। कृषि उपज मंडी से पाटन रोड और कटंगी रोड तक 3 किलोमीटर लंबा फ्लाईओवर बनाने के लिए डीपीआर तैयार हो चुकी है, और इसकी फाइल दिल्ली भेजी जा चुकी है।

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