कोयला लोड-अनलोड के दौरान उड़ रही धूल
छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में मानिकपुर साइडिंग पर बिना पानी छिड़काव के ही कोयले की लोडिंग और अनलोडिंग हो रही है। इस दौरान उड़ती धूल (कोल डस्ट) लोगों के लिए मुसीबत बन गई है।
स्प्रिंकलर बंद, बढ़ता प्रदूषण
मानिकपुर साइडिंग पर कोयले की लोडिंग-अनलोडिंग तो हो रही है, लेकिन धूल कम करने के लिए कोई इंतजाम नहीं किया गया। इससे कोल डस्ट रेलवे स्टेशन, ओवरब्रिज, प्लेटफॉर्म और कॉलोनियों तक फैल रही है। सड़कों और फर्श पर धूल की मोटी परत जम गई है, जिससे चलने पर धूल उड़ती रहती है।
लोगों के स्वास्थ्य पर असर
प्रदूषण बढ़ने से लोगों को स्वास्थ्य संबंधी दिक्कतें हो रही हैं, लेकिन एसईसीएल और रेलवे प्रबंधन इस समस्या को लेकर गंभीर नहीं है। वे सिर्फ ज्यादा कोयला लोड करने पर ध्यान दे रहे हैं। स्थानीय लोग इस उपेक्षा से नाराज हैं।
यात्रियों को हो रही परेशानी
2016 में रेलवे ने सेकंड एंट्री शुरू की थी ताकि यात्रियों को सुविधा मिल सके, लेकिन अब भारी वाहनों के कारण यह रास्ता असुरक्षित हो गया है। यात्रियों को आवाजाही में काफी दिक्कतें हो रही हैं।
पानी छिड़काव नहीं हो रहा
मानिकपुर साइडिंग का विस्तार तो किया गया, लेकिन पानी छिड़काव की कोई व्यवस्था नहीं की गई। जहां स्प्रिंकलर लगे हैं, वे भी बंद पड़े हैं। जिला प्रशासन ने भारी वाहनों में तिरपाल लगाने के निर्देश दिए, लेकिन कोल डस्ट रोकने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए।