जांजगीर-चांपा: छत्तीसगढ़ के जांजगीर-चांपा जिले में जमीन की खरीदी-बिक्री में भारी गिरावट देखी जा रही है। पहले से उच्च जमीन दरों और 30% छूट खत्म होने के कारण लोग अब जमीन खरीदने से बच रहे हैं।
रजिस्ट्री आधी हुई, राजस्व पर असर
📉 पंजीयन विभाग के अनुसार, इस साल जमीन रजिस्ट्री की संख्या आधी हो गई है।
📌 वित्तीय वर्ष 2024-25 में जांजगीर पंजीयन दफ्तर को 43 करोड़ रुपए का लक्ष्य दिया गया था, लेकिन अभी तक सिर्फ 21.33 करोड़ रुपए की ही आय हुई है।
📌 अब केवल डेढ़ महीना बचा है, ऐसे में लक्ष्य पूरा होना मुश्किल नजर आ रहा है।
नई सॉफ्टवेयर प्रणाली से बढ़ी दिक्कतें
🔹 जमीन रजिस्ट्री का नया एनजीडीआरएस (NGDRS) सॉफ्टवेयर लागू कर दिया गया है, जिससे पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन हो गई है।
🔹 लोगों को इस नई प्रणाली को समझने में परेशानी हो रही है, जिससे रजिस्ट्रेशन की संख्या कम हो गई है।
चुनाव भी एक वजह
📌 फरवरी में नगरीय निकाय और पंचायत चुनाव होने के कारण प्रॉपर्टी खरीदने-बेचने में और भी गिरावट आई है।
क्या है कारण?
✅ 30% छूट खत्म हो गई
✅ टैक्स 4% का बना रहा
✅ ऑनलाइन सिस्टम से प्रक्रिया जटिल हो गई
✅ चुनावी माहौल का असर
👉 इन सब कारणों से प्रॉपर्टी बाजार में मंदी छा गई है और जमीन की खरीदी-बिक्री में 20% तक की गिरावट दर्ज की गई है।