अजमेर में राजस्थान लोक सेवा आयोग ने दोहरे आवेदनों, डमी कैंडिडेट और जालसाजी की रोकथाम के लिए आधार सत्यापन प्रक्रिया लागू करने की अनुमति प्राप्त की है। अब आयोग बायोमेट्रिक सत्यापन के जरिए उम्मीदवारों की पहचान को सत्यापित कर सकेगा।
आधार सत्यापन से प्रक्रिया में सुधार:
राजस्थान लोक सेवा आयोग को अब कार्मिक विभाग से बायोमेट्रिक सत्यापन की अनुमति मिल गई है, जिससे आयोग को उम्मीदवारों की पहचान सत्यापित करने में मदद मिलेगी। इसके साथ ही आयोग द्वारा किए गए आवेदन, साक्षात्कार, काउंसलिंग और परीक्षा के दौरान बायोमेट्रिक सत्यापन किया जाएगा।
आयोग सचिव रामनिवास मेहता ने बताया कि इस प्रक्रिया से जालसाजी और डमी कैंडिडेट की पहचान करना संभव होगा, जिससे आयोग की कार्यप्रणाली और विश्वसनीयता में सुधार होगा।
तकनीकी बदलाव:
आयोग ने पहले ही वन टाइम रजिस्ट्रेशन, लाइव फोटो कैप्चर, और ओएमआर शीट में पांचवे विकल्प जैसी तकनीकी प्रक्रियाओं को लागू किया था। अब आधार बायोमेट्रिक सत्यापन से इन प्रक्रियाओं की शुचिता और बढ़ेगी।
इसके साथ ही आयोग ने उन सभी बदलावों को लागू किया है, जो जालसाजी और नकल गिरोहों के खिलाफ महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकते हैं। अब अभ्यर्थियों का सत्यापन अधिक सख्ती से किया जाएगा और किसी भी प्रकार की धोखाधड़ी को रोका जाएगा।